छत्तीसगढ़ में सरकार की ओर से चलाए जा रहे ऑपरेशन प्रहार के विरोध में सोमवार को बुलाए गए भारत बंद के दौरान नक्सली जमकर उत्पात मचा रहे हैं। सुकमा और कांकेर में नक्सलियों ने पेड़ काटकर मार्ग बाधित कर दिया, जिसके चलते वैक्सीनेशन के लिए जा रही टीम फंस गई। वहीं कांकेर में मोबाइल टावर और गढ़चिरौली में वाहनों में आग लगा दी। कैंप के पास पटाखे फोड़कर जवानों को उकसाने का भी प्रयास किया।

कांकेर : मालेवाही कैंप और बोदली थाने के पास पटाखे फोड़े, बैनर बांध रास्ता रोका
नक्सलियों ने देर रात मालेवाही कैंप और बोदली थाने से कुछ दूरी पर पटाखे फोड़कर जवानों को उकसाने का प्रयास किया। वहीं पीड़ापाल में देर रात ही मोबाइल टावर पर लगी मशीनों को आग लगा दी। अगले दिन सुबह कांकेर-आमाबेड़ा मार्ग पर नक्सलियों ने पेड़ गिराकर रास्ता रोक दिया। पंखाजूर में कई जगहों में नक्सलियों ने बैनर-पोस्टर बांधे हैं। वहीं ऑपरेशन प्रहार के खिलाफ विरोध जताते हुए सेना को हटाने की मांग की है।

सुकमा-कोंडागांव : सड़क पर पेंट से नारे लिखे, जवानों ने मार्ग ठीक किया
वहीं सुकमा में भी नक्सलियों ने हंगामा किया है। सुकमा में कोंटा से लगे ढोणड्रा गांव के पास चिकवार गुड़ा पहाड़, कोत्ताचेरु व भेज्जी के बीच नक्सलियों ने जगह-जगह पोस्टर और बैनर लगाया है। वहीं बीच सड़क पर पेंट से नक्सली नारे भी लिखे हैं। कोंडागांव के केशकाल के ग्राम मातेंगा में रास्ता बंद होने के कारण वैक्सीनेशन के लिए जा रही टीम नहीं पहुंच सकी है। बाद में जवानों ने पेड़ व बैनर हटाए और मार्ग पर आवागमन व्यवस्थित किया।

दंतेवाड़ा : CRPF कैंप से 500 मीटर की दूरी पर बांधे बैनर-पोस्टर, सेना की तैनाती का विरोध
दंतेवाड़ा में भी बारसूर पल्ली मार्ग पर सातधार के पास नक्सलियों ने कई जगह पोस्टर और बैनर लगाए हैं। मार्ग पर भारतीय सेना की ओर से जो होर्डिंग लगाई गई है, नक्सलियों ने उसी से बैनर को बांधा है। यह जगह CRPF 195वीं बटालियन कैंप से 500 मीटर की दूरी पर है। बैनर-पोस्टर में लोगों से अपील की गई है कि वह इस अघोषित युद्ध के खिलाफ सड़क पर उतरे। साथ ही दंडकारण्य में सेना की तैनाती का विरोध करें।

महाराष्ट्र के गढ़चिरौली में वाहनों को लगाई आग
दूसरी ओर नक्सलियों ने छत्तीसगढ़-महाराष्ट्र की सीमा से लगते गढ़चिरौली में भी 6 ट्रैक्टर और एक टैंकर में आग लगा दी। यह वाहन सड़क निर्माण कार्य में पर्मिली मेदपल्ली इलाके में लगे हुए थे। आग के चलते सभी वाहन जलकर खाक हो गए। हालांकि अभी तक कोई जनहानि की खबर नहीं है। सूचन मिलने पर जवानों को इलाके में भेजा गया है। वहीं सर्चिंग तेज कर दी गई है। बताया जा रहा है कि देर रात नक्सलियों ने वारदात को अंजाम दिया है।
चार दिन से लगातार उत्पात मचा रहे हैं नक्सली
भारत बंद की घोषणा से चार दिन पहले से ही नक्सली लगातार उत्पात मचा रहे हैं। जवानों की हत्या के साथ ही कैंप पर हमला और सड़क निर्माण कार्य में लगे वाहनों को जलाया है। यहां तक कि पैसेंजर ट्रेन को डिरेल कर यात्रियों की भी जान लेने का प्रयास किया है।
- 23 अप्रैल : बीजापुर में चार दिन पहले अगवा किए गए CAF के SI मुरली ताती की हत्या कर दी और शव को अगले दिन सड़क पर फेंक दिया।
- 23 अप्रैल : दंतेवाड़ा में नक्सलियों ने रेलवे ट्रैक तोड़कर पैसेंजर ट्रेन को डिरेल किया। हालांकि इसमें कोई जनहानि नहीं हुई। वहीं पोस्टर लगाकर नक्सलियों ने 26 को भारत बंद की चेतावनी दी थी।
- 24 अप्रैल : कांकेर में BSF कैंप पर हमला किया। इसमें जवानों को कोई नुकसान नहीं हुआ। जवाबी कार्रवाई में नक्सली जान बचाकर भाग निकले।
- 25 अप्रैल : सुकमा के कोंटा में सड़क निर्माण कार्य में लगे सात से ज्यादा वाहनों में आग लगा दी।